
सीकर में किसानों को अब बीज की चुनौती से जूझने की जरुरत नहीं पड़ेगी. किसान सरकारी प्रयोगशाला में खाद और बीज की निशुल्क जांच करवा सकेंगे. इसके लिए सीकर जिले में कृषि विभाग ने विशेष प्रयोगशाला तैयार कर ली है जहां पर किसान कभी भी जांच करवा सकेंगे. पढ़ें पूरी खबर...
सीकर. समय-समय पर नकली खाद और बीज की चुनौती से जूझने वाले किसानों के लिए अब राहत भरी खबर है. किसान सरकारी प्रयोगशाला में खाद और बीज की निशुल्क जांच करवा सकेंगे. इसके लिए सीकर जिले में कृषि विभाग ने विशेष प्रयोगशाला तैयार कर ली है जहां पर किसान कभी भी जांच करवा सकेंगे. खास बात यह है कि किसान खुद ही नमूने लेकर यहां पर जा सकेंगे और अगर बीज में गड़बड़ी पाई गई तो संबंधित कंपनी के खिलाफ कार्रवाई भी हो सकेगी.
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जानकारी के मुताबिक कई बार किसानों को बीज और खाद इस तरह के वितरित किए जाते हैं या बाजार में मिलते हैं जो अमानक होते हैं. नकली बीज को लेकर कई बार किसान आंदोलन भी कर चुके हैं. अकेले सीकर जिले में कई बार बीज और खाद अमानक पाए गए हैं. जबकि किसान जांच भी बहुत कम करवाते थे. अब यह व्यवस्था की गई है कि सरकारी लैब में कभी भी किसान इनकी जांच करवा सकेंगे. इससे किसानों को फायदा होगा और बोने से पहले बीज की जांच होने से अच्छी पैदावार भी मिलेगी.
बीज की जांच के लिए इस तरह नमूने लेकर जा सकते हैं किसान
किसान अपने बीज की जांच के लिए खुद ही नमूने लेकर जा सकते हैं. इसके लिए उन्हें गेहूं, मूंगफली, मक्का, सोयाबीन, ग्वार, चना और अरहर के लिए 1 किलो बीज लेकर जाना होगा. ज्वार के लिए 900 ग्राम, बाजरा के लिए डेढ़ सौ ग्राम, तिल के सैंपल के लिए 70 ग्राम बीज लेकर जाना होगा. इसके अलावा सरसों के लिए 160 ग्राम बीज सैंपल के लिए लेकर जा सकते हैं और मोठ के लिए 750 ग्राम बीज लेकर जाना होगा.

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खाद के नमूने भी लेकर जा सकते हैं किसान
प्रयोगशाला में जांच के लिए किसान खाद के लिए भी नमूने लेकर जा सकते हैं और वहां पर खाद की जांच करवा सकते हैं. इसके अलावा मिट्टी की जांच भी करवा सकते हैं. खाद की जांच के लिए कम से कम 400 ग्राम खाद ले जानी होगी.

पहले कई नमूने पाए जा चुके हैं अमानक
पहले कृषि विभाग अपने स्तर पर खाद और बीज के सैंपल लेता था. जिनमें भी कई नमूने अमानक पाए जाते थे. पिछले साल भी सीकर जिले में 11 बीज विक्रेताओं के नमूने गलत पाए गए थे. इसके अलावा खाद के भी कई नमूने गलत पाए गए थे.